रायपुर में गीले कचरे से बनेगी बायो गैस
राजधानी में गीला कचरा अब बेकार नहीं जाएगा। नगर निगम ने गीले कचरे से बायो गैस बनाने के लिए एक बड़ा कदम उठाया है रावांभाठा क्षेत्र में स्थित आठ एकड़ जमीन पर कंप्रेस्ड बायो गैस प्लांट लगाया जाएगा। यह प्रोजेक्ट भारत पेट्रोलियम कंपनी द्वारा 60 करोड़ रुपये की लागत से 18 महीनों में तैयार किया जाएगा। इस प्लांट में सब्जी बाजार, उद्यानों और अन्य शहरी क्षेत्रों से उत्पन्न होने वाले गीले कचरे को कच्चे माल के रूप में इस्तेमाल किया जाएगा। कचरे से बायो गैस उत्पन्न होगी, जो पेट्रोलियम उत्पादों के लिए एक वैकल्पिक ऊर्जा स्रोत के रूप में काम करेगी। गीले कचरे से निकलने वाले वेस्ट मटेरियल को खाद के रूप में उपयोग किया जाएगा, जिससे कचरे का उचित निपटान होगा और जैविक खेती को बढ़ावा मिलेगा।
नगर निगम को रोज 100 टन गीला कचरा प्लांट में पहुंचाना होगा। इसके लिए नगर निगम ने शहरी क्षेत्रों में स्थित बगीचों, सब्जी बाजारों और गोबर कचरे के स्रोतों से तालमेल बैठाने का निर्णय लिया है। इसके साथ ही बिरगांव, खरोरा, अभनपुर, तिल्दा नेवरा जैसे क्षेत्रों से भी गीला कचरा एकत्र किया जाएगा।
रावांभाठा में लगने वाले बायो गैस कंप्रेस्ड प्लांट का बिरगांव नगर निगम ने विरोध शुरू कर दिया है। नगर निगम बिरगांव के महापौर नंदलाल देवांगन और एमआईसी सदस्य इकराम अहमद ने कहा कि बिरगांव नगर निगम क्षेत्र की जनता रायपुर शहर की गंदगी और कचरे को बर्दाश्त नहीं करेगी।
इस संबंध में कलेक्टर से मुलाकात करेंगे। प्लांट लगाने के प्रस्तावित क्षेत्र के आस-पास घनी आबादी है। प्लांट बनने के कारण बदबू से आस-पास के लोगों का जीना दुभर हो जाएगा। इसके विरोध के लिए 12 मार्च बुधवार को एक विशेष सामान्य सभा बुलाई जा रही है।
