दुर्ग में कई एकड़ फसल नुकसान, खदान संचालक की मनमानी से किसान परेशान..?
जुलाई महीने में हुई झमाझम बारिश से जहां किसानों के चेहरे खिले हुऐ हैं तो वहीं दुर्ग जिले के गोडपेंड्री गांव में कुछ किसानों के लिए ये ही बारिश चिंता का विषय बन गई है. यहां सड़क किनारे के खेत डबरी का रूप ले चुकी है, बारिश का पानी पहले 60 से 70 एकड़ खेतों में तक भर गया था अभी भी 25 से 30 एकड़ खेतों में पानी भरा हुआ है. इसकी वजह है पानी की निकासी का ना होना.
खदान संचालक पर मनमानी का आरोप: पानी भरने और उसकी निकासी नहीं होने की वजह बारिश के साथ ही नाले के पास मौजूद खदान भी है.. दरअसल जिस नहर के माध्यम से बरसाती पानी की निकासी होती थी उसके एक तरफ का हिस्सा, दम्मानी क्रेशर खदान की ओर है. खदान से होते हुए पानी बाहर निकल जाता है. लेकिन अब खदान संचालक ने निकासी वाले नाले की जगह पर मलबा डाल दिया है जिससे निकासी बंद हो गई है.
जनदर्शन में कलेक्टर को आवेदन दिए हैं. खदान के मालिक से भी निवेदन किए हैं लेकिन वो नहीं सुन रहे हैं. पूरी फसल हमारी बर्बाद हो रही है- तोरण साहू,सरपंच,गोडपेंड्री
खदान मालिक पानी नहीं निकलने दे रहे, इससे पानी जमा हो रहा है जिससे फसल का तो नुकसान है ही बल्कि मौसमी बीमारी भी हो रही है- रामनाथ गायकवाड, उपसरपंच
पुलिया बंद करने से भरा पानी, खदान की मनमानी?
खदान प्रबंधन की अपनी दलील: एक तरफ जहां किसान क्रेशर खदान के चलते परेशान हैं तो इधर खदान मालिक का भी अपना पक्ष है. संचालिका रजनी सिंह का कहना है कि, ये उनकी निजी जमीन है, हर बार बारिश के मौसम में 2-3 महीने खदान बंद रखकर हम निकासी करने देते थे लेकिन अब नुकसान नहीं सह सकते.
ये जमीन निजी है, मेरे नाम पर है. इसकी जानकारी गांव के साथ ही तहसीलदार को भी दी गई है. ये सरकारी रास्ता नहीं है. यहां तक की सरपंच से लेकर PWD को भी आवेदन दिया गया है. खदान बंद नहीं कर सकते- रजनी दम्मानी,संचालिका, दम्मानी क्रेशर खदान
अब अधिकारी कह रहे कार्रवाई की बात: इस पूरे मामले को लेकर कलेक्टर अभिजीत सिंह ने बताया कि किसानों के द्वारा शिकायत मिली है. संबंधित एसडीएम को जांच के लिए निर्देशित किया गया है. तत्काल मौके पर पहुंचकर सीमांकन करवाया जाएगा.
नाला सार्वजनिक होता है, नाला किसी का निजी तो नहीं होता. पुलिया बंद किया गया होगा तो तत्काल उसे खुलवाकर पानी निकासी किया जाएगा. साथ ही जिन किसानों की फसल खराब हुई है उसका भुगतान भी खदान संचालक से करवाया जाएगा- कलेक्टर, अभिजीत सिंह
एक तरफ फसल खराब होने से किसान परेशान हैं, दूसरी तरफ खदान प्रबंधन की भी अपनी दलील है. वहीं कलेक्टर का कहना है कि, नुकसान की भरपाई खदान प्रबंधन से ही कराई जाएगी.
source-ETV BHARAT CHHATTISGARH