स्वस्थ जीवन के लिए बेहद फायदेमंद व् औषधीय गुणों का खजाना है नीम
छत्तीसगढ़ सहित पूरे भारतवर्ष में प्राचीन काल से ही आयुर्वेदिक औषधियों के माध्यम से गंभीर से गंभीर बीमारियों का इलाज किया जाता रहा है. खेतों, खलिहानों और जंगलों में पाई जाने वाली अनेक जड़ी-बूटियों में से एक प्रमुख औषधि नीम है. इसकी पत्तिया, छाल, फूल और फल सभी स्वास्थ्य के लिए अत्यंत लाभकारी होते हैं. विशेषकर गर्मी के मौसम में यदि इसकी पत्तियों का रोजाना सेवन किया जाए तो यह शरीर को स्वस्थ रखने के साथ-साथ तरोताजा भी बनाए रखती है. आयुर्वेद में इसे सर्व रोग निवारक की संज्ञा की दी गई है. इसकी पत्तियां, छाल, फूल और फल सभी स्वास्थ्य के लिए अत्यंत लाभकारी होते हैं. गर्मियों में प्रतिदिन सुबह खाली पेट नीम की पत्तियों का सेवन करने से इम्यूनिटी मजबूत होती है और सांस, डायबिटीज, पाचन, लीवर और दिल की बीमारियों का खतरा भी कम हो जाता है.
नीम औषधीय गुणों से भरपूर है, लेकिन इसका नाम सुनते ही लोगों के मन में इसकी कड़वाहट की वजह से झिझक उत्पन्न हो जाती है, खासकर युवा पीढ़ी इसे पसंद नहीं करती. हालांकि बड़े-बुजुर्ग इसका दातुन करने और खाली पेट नीम की पत्तियों का सेवन करने की परंपरा को आज भी निभाते हैं, जिससे उनका पाचन तंत्र मजबूत बना रहता है और शरीर निरोग रहता है.
भारतीय वेदों में नीम को "सर्व रोग निवारक" कहा गया है. यह न केवल शरीर को बीमारियों से बचाता है, बल्कि इसके आस-पास का वातावरण भी शुद्ध करता है. नीम में एंटीफंगल, एंटीबैक्टीरियल गुणों के साथ-साथ विटामिन सी भी प्रचुर मात्रा में पाया जाता है. इसके सेवन से शरीर का रक्त शुद्ध होता है और रक्त संचार सही रहता है, जिससे ब्लड प्रेशर जैसी समस्याएं नियंत्रित रहती हैं. नीम की छाल को कटे या घाव पर लगाने से घाव जल्दी भर जाते हैं. वहीं गर्मियों में प्रतिदिन सुबह खाली पेट नीम की पत्तियों का सेवन करने से इम्यूनिटी मजबूत होती है और सांस, डायबिटीज, पाचन, लीवर और दिल की बीमारियों का खतरा भी कम हो जाता है. यह दांतों और त्वचा की समस्याओं में भी राहत देती है.
नीम की पत्तियों को आप खाली पेट कच्चा खा सकते हैं या उबालकर उसका पानी पी सकते हैं. इसका पेस्ट बनाकर सिर में लगाने से बालों का झड़ना और रूसी की समस्या दूर होती है. वहीं चेहरे पर इसका लेप लगाने से दाग-धब्बे गायब हो जाते हैं और त्वचा निखरती है. नीम को प्राचीन समय से ही औषधीय गुणों से भरपूर पौधा माना गया है. आयुर्वेद में इसे "हकीम का सरदार" कहा गया है, क्योंकि इसमें मौजूद एंटीऑक्सीडेंट्स शरीर को स्वस्थ रखने और रोगों से लड़ने की शक्ति प्रदान करते हैं. इसलिए, नीम की पत्तियों का सेवन नियमित रूप से सुबह खाली पेट करना चाहिए, जिससे शरीर रोगमुक्त और सशक्त बना रहे.