खड़े होकर पानी क्यों नहीं पीना चाहिए? ,खड़े-खड़े पानी पीने से बीमारियों की आशंका बढ़ जाती है - CGKIRAN

खड़े होकर पानी क्यों नहीं पीना चाहिए? ,खड़े-खड़े पानी पीने से बीमारियों की आशंका बढ़ जाती है

 


ये तो सभी को पता है कि हमारे लिए पानी पीना कितना जरूरी है.  पानी, खून में मौजूद हानिकारक तत्त्वों और पेट के खराब अम्लों को बाहर निकालकर शरीर को डिटॉक्स करता है। लेकिन खड़े-खड़े पानी पीने से बीमारियों की आशंका बढ़ जाती है। खड़े होकर पानी पीने से नसों में तनाव बढऩे के साथ ही इम्यून सिस्टम प्रभावित होता है। पानी तेजी से पेट में जाने से पाचन की दिक्कत होती है। इससे पेट के रोगों के होने की आशंका कई गुना अधिक हो जाती है। इसलिए खड़े होकर पानी पीने से बचना चाहिए। कई बार तो पानी सांस-खाने की नली में भी फंस जाता है। इससे भी दिक्कत हो सकती है।विशेषज्ञों की मानें को इंसान खाने के बिना करीब 3 हफ्ते तक जीवित रह सकता है, लेकिन पानी के बिना 3 दिन में ही उसकी मौत हो जाती है. ऐसे में हमारे लिए पानी सबसे अहम चीज बन जाती है. लेकिन जहां पानी हमारे लिए जीवनदायी है, वहीं इसके गलत सेवन से यह हमारे लिए समस्या भी खड़ा कर सकता है.

इनमें से एक तरीका है खड़े होकर पानी पीना. हमने लोगों को अक्सर देखा है कि वह खड़े होकर पानी पीते हैं, लेकिन हमारे घर में जो बड़े-बुजुर्ग होते हैं, हमें बैठकर पानी पीने की सलाह देते हैं. लेकिन ऐसा क्यों है कि पानी बैठकर पीना चाहिए. इसे लेकर लोगों के मन सवाल बना रहता है, तो आज हम आपको इस सवाल का जवाब देने वाले हैं कि आखिर बड़े-बुजुर्ग क्यों कहते हैं पानी बैठकर पिओ और इसके पीछे का साइंस क्या है?

डॉक्टरों की माने तो खड़े होकर पानी पीना आपकी सेहत पर बुरा असर डाल सकता है. जब खड़े होते हैं तो उस दौरान आपकी बॉडी और कोशिकाएं तनाव में होती हैं. ऐसे में जब आप पानी पीते हैं, तो पानी आपके शरीर में तेजी से बहने लगता है, जिससे तरल पदार्थों का मौजूदा संतुलन बिगड़ जाता है.

पाचन तंत्र भी बिगड़ता है

इसके अलावा खड़े होकर पानी पीते हैं, तो इससे आपके पाचन तंत्र पर भी बुरा असर पड़ सकता है. ऐसा इसलिए क्योंकि जब आप खड़े होकर पानी पीते हैं, तो गुरुत्वाकर्षण के कारण यह बहुत अधिक बल और गति के साथ भोजन नली से होकर सीधे पेट के निचले हिस्से पर गिरता है, जोकि बहुत ही ज्यादा हानिकारक है. डॉक्टरों की मानें तो खड़े होकर पानी पीने से नसें तनावग्रस्त हो जाती हैं, जिससे तरल पदार्थों का संतुलन बिगड़ता है और विषाक्त पदार्थों में बढ़ोतरी होती है.

गठिया को देता है बढ़ावा

जैसा कि हमने बताया कि खड़े होकर पानी पीने से शरीर में तरल पदार्थों का संतुलन बिगड़ जाता है, और कई बार इससे जोड़ों में तरल पदार्थ भी जमा हो जाता है, तो ज्यादातर मामलों में गठिया की वजह बनता है. डॉक्टरों का कहना है कि खड़े होकर पानी पीने से जोड़ो को काफी नुकसान पहुंच सकता है.

हृदय की सकती है समस्या

इसके अलावा जब आप खड़े होकर पानी पीते हैं, तो पानी के पोषक तत्व और विटामिन आपके लीवर और पाचन तंत्र तक नहीं पहुंच पाते हैं. क्योंकि खड़े होकर पानी पीने से यह आपके सिस्टम से बहुत तेजी से गुजरता है, जिससे आपके फेफड़ों और दिल की कार्य प्रणाली पर भी खतरा हो सकता है. खड़े होकर पानी पीने से ऑक्सीजन का स्तर बिगड़ जाता है.

हो सकती है किडनी में परेशानी

डॉक्टरों का कहना है कि जब हम बैठते हैं, तो हमानी किडनी बेहतर काम करती है. ऐसे में जब हम खड़े होकर पानी पीते हैं, तो तरल पदार्थ बिना किसी फ़िल्टरेशन के उच्च दबाव के कारण निचले पेट में चला जाता है. इससे पानी में मौजूद अशुद्धियां मूत्राशय में इकट्ठा हो जाती हैं और किडनी की कार्यप्रणाली पर असर डालती हैं. ऐसे में किडनी संबंधी कई बीमारियां होने का डर रहता है.

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