छत्तीसगढ़ की राजनीति में दुर्ग का दबदबा, विधानसभा और लोकसभा पहुंचे कई दिग्गज
लोकसभा चुनाव हो या विधानसभा चुनाव में दुर्ग जिला प्रदेश में एक विशेष महत्व रखता है। प्राय: छत्तीसगढ़ से जो बड़े बड़े नेता राजनीति में उभर कर आये है वो दुर्ग जिले से ही है इसलिए छत्तीसगढ़ की राजनीति में दुर्ग जिला विशेष महत्व दर्शाता है। यदि देखा जाये तो मोतीलाल वोरा, चंदू लाल चंद्राकर, सरोज पांडे, भूपेश बघेल, विजय बघेल, वासुदेव चंद्रकार आदि नेता देश और प्रदेश की राजनीति का प्रतिनिधित्व करते आये है। छत्तीसगढ़ में दुर्ग लोकसभा सीट का अपना अलग इतिहास रहा है. दुर्ग लोकसभा सीट का प्रतिनिधित्व हमेशा से बीजेपी और कांग्रेस के दिग्गज नेता करते आ रहे हैं. विधानसभा में जहां दुर्ग से जीतकर आने वालों का दबदबा रहा वहीं लोकसभा सीट से यहां का प्रतिनिधित्व भी दिग्गजों ने किया है. नामों की इस फेहरिश्त में भूपेश बघेल से लेकर सरोज पांडेय तक का नाम शामिल है. छत्तीसगढ़ के दुर्ग जिला आगामी लोकसभा चुनाव के लिए उम्मीदवारों की घोषणा के बाद से राजनीतिक आकर्षण का केंद्र बन गया है। लोकसभा चुनाव के लिए पूर्व मुख्यमंत्री भूपेश बघेल सहित विपक्षी कांग्रेस के चार उम्मीदवार और सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के दो उम्मीदवार दुर्ग जिले से हैं, जिससे यह जिला चुनाव से पहले ही चर्चा के केंद्र में आ गया है। बता दें कि छत्तीसगढ़ की 11 लोकसभा सीटों पर तीन चरणों में 19 अप्रैल, 26 अप्रैल और 7 मई को चुनाव होंगे और मतगणना 4 जून को होगी।
अभी लोकसभा चुनाव 2024 में भी दुर्ग जिले का विशेष दबदबा रहा है। छत्तीसगढ़ का दुर्ग जिला लोकसभा चुनाव 2024 के लिए राजनीतिक का दुर्ग बन गया है। राज्य में उम्मीदवारों की घोषणा के बाद से दुर्ग जिला अब राजनीति के लिहाज से बेहद अहम कैसे हो गया है। लोकसभा चुनाव 2024 में भी दुर्ग की धरती से इस बार दिग्गज नेता अपना परचम लहराने के लिए बेताब हैं. छत्तीसगढ़ की कुल 11 लोकसभा सीटों पर बीजेपी और कांग्रेस को मिलाकर 22 उम्मीदवार मैदान में हैं. 22 प्रत्याशियों में से 6 नाम ऐसे हैं जो दुर्ग क्षेत्र से आते हैं. छह नामों में से चार नाम कांग्रेस नेताओं के हैं. कांग्रेस की ओर से भूपेश बघेल, जो इस इस बार राजनांदगांव लोकसभा सीट से चुनाव लड़ रहे हैं. ताम्रध्वज साहू जो कि इस बार महासमुंद लोकसभा सीट से मैदान में हैं. देवेंद्र यादव जो इस बार दुर्ग की जमीन छोड़कर बिलासपुर लोकसभा सीट से मैदान में उतरे हैं. राजेंद्र साहू को कांग्रेस पार्टी ने दुर्ग से मैदान में उतारा है. जबकी बीजेपी ने दुर्ग से विजय बघेल को मैदान में उतारा है. दुर्ग से आने वाली बीजेपी की वरिष्ठ नेता सरोज पांडेय को इस बार पार्टी ने कोरबा लोकसभा सीट से मैदान में उतारा है.
राजनीति के क्षेत्र में दुर्ग छत्तीसगढ़ का पावर सेंटर हमेशा से रहा है. बात की जाए ताराचंद साहू वासुदेव चंदाकर भूपेश बघेल के राजनीतिक गुरु, चंदूलाल चंद्राकर, सरोज पांडे, भूपेश बघेल, ताम्रध्राज साहू, विजय बघेल, देवेंद्र यादव ये सारे दिग्गज यहीं से आते हैं. पिछली कैबिनेट की बात की जाए तो ज्यादातर मंत्री दुर्ग लोकसभा से ही आते हैं. अभी से नहीं बल्कि लगभग 40-50 साल से छत्तीसगढ़ की राजनीति में दुर्ग का दबदबा रहा है. मध्य प्रदेश की राजनीतिक में भी दुर्ग का अपना दबदबा रहा है. चंदूलाल चंद्राकार, वासुदेव चंद्राकर और मोतीलाल बोरा का अपना दबदबा रहा. कहा जा सकता है कि छत्तीसगढ़ में दुर्ग लोकसभा, दुर्ग विधानसभा दुर्ग संभाग का अपना ही महत्व है और वह छत्तीसगढ़ में पावर सेंटर के रूप में रहा है.
आगामी लोकसभा चुनाव के लिए भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) और कांग्रेस द्वारा उम्मीदवारों की घोषणा के साथ ही जिले का राजनीतिक महत्व प्रदेश के विशेषज्ञों के बीच चर्चा का विषय बन गया है। राजनांदगांव लोकसभा सीट से कांग्रेस के उम्मीदवार भूपेश बघेल, बिलासपुर सीट से देवेंद्र यादव, महासमुंद सीट से ताम्रध्वज साहू और दुर्ग सीट से राजेंद्र साहू, सभी दुर्ग जिले से हैं। छत्तीसगढ़ के पूर्व मुख्यमंत्री बघेल पाटन विधानसभा सीट (दुर्ग जिला) से फिलहाल विधायक हैं और यादव भिलाई नगर सीट (दुर्ग) से विधायक हैं। ताम्रध्वज साहू छत्तीसगढ़ की पूर्ववर्ती कांग्रेस सरकार में गृह मंत्री थे और दुर्ग ग्रामीण सीट से विधानसभा चुनाव हार गए थे। इसी तरह दुर्ग लोकसभा सीट से भाजपा प्रत्याशी विजय बघेल और कोरबा सीट से सरोज पांडे भी दुर्ग जिले की मूल निवासी हैं। विजय बघेल दुर्ग से मौजूदा सांसद हैं, जिसका पांडे ने पहले 2009-14 तक लोकसभा में प्रतिनिधित्व किया था।
यदि राजनीतिक विश£ेषकों की माने तो छत्तीसगढ़ में कांग्रेस सरकार के गठन के बाद, दुर्ग एक राजनीतिक केंद्र के रूप में सुर्खियों में आया, जिसमें तत्कालीन मुख्यमंत्री भूपेश बघेल और उनके तत्कालीन दो कैबिनेट सहयोगियों ताम्रध्वज साहू और गुरु रुद्र कुमार एक ही जिले के विभिन्न विधानसभा क्षेत्रों से चुने गए थे। दुर्ग एक राजस्व संभाग भी है जिसमें सात जिले शामिल हैं- दुर्ग, राजनांदगांव, बालोद, बेमेतरा, मोहला-मानपुर-अंबागढ़ चौकी, खैरागढ़-छुईखदान-गांडेई और कबीरधाम। दुर्ग संभाग से ही भाजपा के पूर्व मुख्यमंत्री रमन सिंह भी आते है जिन्होने छत्तीसगढ़ की राजनीति का 3 बार प्रतिनिधित्व किया है अभी साय सरकार में विधानसभा अध्यक्ष भी है।