छत्तीसगढ़ में पहले चरण के चुनाव में इन बड़े चेहरों पर लगा दांव - CGKIRAN

छत्तीसगढ़ में पहले चरण के चुनाव में इन बड़े चेहरों पर लगा दांव

विधानसभा चुनाव के पहले चरण की सबसे हॉट सीट राजनांदगांव के मतदाताओं की नजर में यहां लड़ाई रमन बनाम भूपेश है। कांग्रेस प्रत्याशी गिरीश देवांगन सिर्फ चेहरा भर हैं। छत्तीसगढ़ विधानसभा चुनाव 2023 के प्रथम चरण के लिए सार्वजनिक मंचों से प्रचार-प्रसार थम गया है. पहले चरण में 20 विधानसभा सीटों में 7 नवंबर को चुनाव होना है. इसमें से कुछ सीटें ऐसी हैं, जिनमें कई बड़े चेहरों की किस्मत दांव पर लगी है. इसमें  राजनांदगांव, कवर्धा, खैरागढ़,  अंतागढ़, केशकाल, कोड़ागांव, नारायणपुर, चित्रकोट, दंतेवाड़ा, बीजापुर, कोंटान की सीट है. लगातार तीन बार प्रदेश के मुख्यमंत्री रहे डॉ. रमन सिंह छह विधानसभा चुनाव जीत चुके हैं। एक बार सांसद चुने गए और केंद्रीय मंत्री भी रहे। मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के सहपाठी और राजनी
तिक सहयोगी गिरीश छत्तीसगढ़ खनिज विकास निगम के चेयरमैन हैं। ये पहली बार चुनाव मैदान में हैं। कोंडागांव विधानसभा सीट से भाजपा ने लता उसेंडी को पांचवी बार अपना प्रत्याशी बनाया हैं। लता उसेंडी ने भाजपा मंडल मंत्री से अपने राजनीति की शुरुआत करते हुए पार्षद बनी थी। 2003 में पहली बार विधायक निर्वाचित होने के साथ ही मंत्री बनीं। 2008 में भी चुनाव जीत कर मंत्री बनी। 2018 के विधानसभा चुनाव में लता उसेंडी कांग्रेस के मोहन मरकाम से चुनाव हार गईं। वहीं मोहन मरकाम कांग्रेस से प्रत्याशी हैं, जो वर्तमान कैबिनेट मंत्री हैं और पूर्व में पीसीसी चीफ की जिम्मेदारी संभाल चुके हैं. 

रमन सिंह, भाजपा-  1999 में सांसद, केंद्रीय वाणिज्य, उद्योग राज्यमंत्री बने। n 2003 से 2018 तक तीन बार सीएम। अब भाजपा के राष्ट्रीय उपाध्यक्ष

गिरीश देवांगन, कांग्रेस-  छत्तीसगढ़ खनिज विकास निगम के चेयरमैन हैं,  सीएम भूपेश बघेल के सहपाठी व सियासी सहयोगी, पहली बार चुनाव में मैदान में

कवर्धा : कांग्रेस के प्रत्याशी मोहम्मद अकबर वर्तमान में कैबिनेट मंत्री है और उनके सामने भाजपा से विजय शर्मा, जो पूर्व में भाजयुमो के प्रदेश अध्यक्ष थे.

कोंटा : वर्तमान प्रदेश सरकार में कैबिनेट मंत्री, पांच बार के विधायक कवासी लखमा पर कांग्रेस ने पुनः विश्वास जताकर मैदान में उतारा है. जिनका सामना इस बार भाजपा के सुकमा जिला अध्यक्ष सोयम मुक्का से है.

खैरागढ़ : कांग्रेस से प्रत्याशी यशोदा वर्मा है जो वर्तमान में विधायक हैं. इन्हें सरपंच से जिलापंचायत तक की राजनीति के बाद खैरागढ़ उपचुनाव में विधायक का टिकट मिला, जिसमें उन्हें जीत मिली थी. अब उनका सामना बीजेपी के विक्रांत सिंह से है, जो वर्तमान में भाजयुमो में प्रदेश उपाध्यक्ष का दायित्व निभा रहे हैं.

अंतागढ़ : भाजपा से प्रत्याशी विक्रम उसेंडी है. वे पूर्व लोकसभा सांसद हैं. साथ ही बीजेपी प्रदेश अध्यक्ष की जिम्मेदारी भी निभा चुके हैं. उनके सामने रूप सिंह पोटाई चुनावी मैदान में हैं, जो पहली बार विधानसभा चुनाव लड़ रहे हैं.

केशकाल : कांग्रेस से प्रत्याशी संतराम नेताम हैं, जो वर्तमान में विधानसभा के डिप्टी स्पीकर हैं. भाजपा ने प्रशासनिक सेवा से VRS लेने वाले आईएएस अफसर नीलकंठ टेकाम को प्रत्याशी बनाया है.

नारायणपुर : कांग्रेस से प्रत्याशी चन्दन कश्यप हैं. उनके सामने भाजपा से केदार कश्यप हैं, जो वर्तमान में बीजेपी प्रदेश महामंत्री हैं और पूर्व मंत्री रह चुके हैं.

चित्रकोट : कांग्रेस से प्रत्याशी दीपक बैज हैं, जो वर्तमान में लोकसभा सांसद है और कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष हैं. वहीं उनके सामने भाजपा से विनायक गोयल चुनावी मैदान में हैं. वह पहली बार चुनाव लड़ रहे हैं. विनायक गोयल वर्तमान में भाजपा के मंडल अध्यक्ष हैं. वे अपने ग्राम के कई बार सरपंच रहने के अलावा जनपद सदस्य और जिला पंचायत सदस्य भी रह चुके हैं.

दंतेवाड़ा : कांग्रेस ने इस बार बस्तर टाइगर दिवंगत महेंद्र कर्मा के बेटे छविन्द्र कर्मा को प्रत्याशी बनाया है. उनके सामने भाजपा ने चैतराम अटामी को प्रत्याशी बनाया है. छविन्द्र और चैतराम दोनों पहली बार विधानसभा चुनाव लड़ रहें हैं.

बीजापुर : इस सीट पर कांग्रेस ने वर्तमान विधायक विक्रम मंडावी को ही उम्मीदवार बनाया है. जिनका सामना भाजपा के पूर्व कैबिनेट मंत्री महेश गागड़ा से है.


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